Old Tax Regime Vs New Tax Regime. टैक्सपेयर्स के लिए हर साल इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) भरना बेहद मायने रखता है. सरकार ने अब करदाताओं को नए टैक्स सिस्टम (New Tax System) की भी सुविधा दी है. हालांकि उसके साथ पुरानी टैक्स व्यवस्था (Old Tax System) भी जारी है. अब सवाल ये है कि अगर आपको नए टैक्स या फिर पुराने टैक्स सिस्टम में से किसी एक को चुनना है तो बेहतर कौन सा होगा? दरअसल पुराने टैक्स सिस्टम में 5 लाख रुपये तक की आय पर टैक्स से छूट है. इसके साथ इनकम टैक्स के सेक्शन 80C के तहत 1.5 लाख रुपये तक के निवेश पर भी टैक्स छूट मिलती है. वहीं नए टैक्स सिस्टम में 7 लाख रुपये तक की आमदनी पर टैक्स नहीं देना होगा. नए टैक्स सिस्टम में सैलरी क्लास और पेंशनर्स के लिए 50,000 रुपये के अतिरिक्त स्टैंडर्ड डिडक्शन (Standard Deduction) का भी प्रावधान जोड़ा गया है.
आपके लिए क्या है बेहतर विकल्प?
नए टैक्स सिस्टम और पुराने टैक्स सिस्टम में आपके लिए क्या बेहतर है ये आपकी सैलरी और निवेश पर निर्भर करता है. अगर आपकी सालाना आय 7 लाख तक है और आपने कहीं निवेश नहीं किया है तो नया टैक्स सिस्टम आपके लिए बेहतर होगा. लेकिन होम लोन (Home Loan), PPF, NPS, सुकन्या समृद्धि योजना, मेडिकल इंश्योरेंस या फिर टैक्स फ्री FD में निवेश करने वालों के लिए पुराना टैक्स सिस्टम अच्छा विकल्प है. इससे आप ज्यादा टैक्स बचा सकते हैं. पुराने टैक्स स्लैब में 80C के तहत 1.5 लाख की छूट के अलावा NPS में निवेश पर अतिरिक्त 50,000 और होम लोन के ब्याज पर 2 लाख की छूट मिलती है. इसके साथ आप मेडिकल इंश्योरेंस के प्रीमियम (Medical Insurance) पर भी टैक्स छूट क्लेम कर सकते हैं.
10 लाख सैलरी हो तो क्या करें?
अगर आपकी सैलरी सालाना 10 लाख रुपये है तो नया टैक्स सिस्टम (New Tax Regime) आपके लिए फायदेमंद तभी होगा जब आप कहीं निवेश नहीं कर रहे हैं. वहीं अगर आपका निवेश है तो पुराने टैक्स सिस्टम (Old Tax Regime) को चुनकर काफी टैक्स बचा सकते हैं.
साफ है कि नई टैक्स रिजीम में अगर आपकी आय सालाना 7.50 लाख रुपये तक है तो स्टैंडर्ड डिडक्शन का फायदा लेने के बाद आपको एक रुपये का भी टैक्स नहीं देना होगा. वहीं अगर आपने पुराने टैक्स सिस्टम का विकल्प चुना है तो आपको कम से कम दो लाख का निवेश दिखाना पड़ेगा तभी टैक्स बचा पाएंगे. पुरानी व्यवस्था में सरकार ने 2.5 लाख से 5 लाख रुपये पर बनने वाला 12,500 रुपये का टैक्स माफ किया है.
नई व्यवस्था में 3 से 7 लाख पर बनने वाला 25,000 रुपये का टैक्स माफ है. इसके साथ ही आपको ये भी जानना जरूरी है कि नई व्यवस्था में पांच स्लैब हैं जिसमें 3 से 6 लाख पर 5%, 6 से 9 लाख पर 10%, 9 से 12 लाख पर 15%, 12 से 15 लाख पर 20% और 15 लाख से ज्यादा की आमदनी पर 30% टैक्स देना होगा. पुराने टैक्स स्लैब में 2.5 से 5 लाख पर 5%, 5 से 10 लाख पर 20% और 10 लाख से ऊपर 30% टैक्स देना होता है.